तो पहले सूरज की तरह जलना सीखो ।
क्योंकि चाहे सूरज हो या दीपक
वह स्वयं जल कर ही दूसरों को रौशनी प्रदान करता है
क्योंकि चाहे सूरज हो या दीपक
वह स्वयं जल कर ही दूसरों को रौशनी प्रदान करता है
कल जो शहर में करता था सांप के काटे का इलाज आज उसी के तहखाने से सांपों के ठिकाने निकले " अज्ञात लेखक " ...
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