यह सोचने में समय बर्बाद न करें कि आप क्या कर सकते थे -
या किस काम को कैसे - और किस ढंग से करना चाहिए था।
अब भविष्य पर नज़र रखें
और हमेशा हर काम सोच-समझ कर सही ढंग से करने की कोशिश करें।
नमस्कार प्रेम एवं आदर का प्रतीक है। जब हम किसी को नमस्कार करते हैं तो ये हमारी अपनी विनम्रता और उनके प्रति हमारे प्रेम और आदर की सूचना देता...
Right sir!
ReplyDeleteVery well said Veer Ji
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