Friday, March 29, 2024

कोई भी इन्सान पूर्ण नहीं होता

कोई भी इन्सान हर दृष्टिकोण से पूर्ण और समर्थ नहीं होता
और न ही कभी कोई हो सकता है

लेकिन अगर हम पूर्णता के लिए प्रयास करें 
तो कम से कम उत्कृष्टता तो प्राप्त कर ही सकते हैं

इसलिए ज्ञान की ज्योति अपने साथ रखें
और अपने गंतव्य की ओर आगे बढ़ते रहें
                               " राजन सचदेव "

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कामना रुपी अतृप्त अग्नि

                  आवृतं ज्ञानमेतेन ज्ञानिनो नित्यवैरिणा |                   कामरुपेण कौन्तेय दुष्पूरेणानलेन च ||                            ...