ज़िंदगी दे दिन हुंदे चार सजना
काह्नु ऐवें करें तकरार सजना
सारा दिन मेरी मेरी करें फिरदा
झूठा ऐवें करें हंकार सजना
सब कुझ छड्ड एथे टुर जावना
काहदे लई करें मारो-मार सजना
जिहना लई करें दिन रात ठगियां
किसे नइयों लैनी तेरी सार सजना
जांदी वारी किसे नइयों नाल चलना
किसे नइयों होना तेरा यार सजना
वहमां ते भुलेखेयां च रोलें ज़िंदगी
ऐवें हुंदा फिरें तू ख़्वार सजना
वैर ते विरोध दीआं पंडां बन्न के
ऐवें चुक्की फिरें सिर भार सजना
धरमां दे नां ते पाउंदा फिरें वंडियां
करना ऐं झूठा परचार सजना
भोली भाली जनता नूं पा के पुट्ठे राह
काह्नु बनना ऐं गुनहगार सजना
इक्को रब्ब ने बनाए सारे इंसान
सब नूं बनाया इकसार सजना
इक्को है ज़मीन इक्को आसमान है
सारियां दा सांझा संसार सजना
किसे नहीं पढ़ाया कि दो चार रब्ब ने
इक्को इक ही ऐ करतार सजना
वेद कहन इक बिन दूजा को नहीं*
नानक आखे इक ओंकार सजना
इक्को रब ने बनाई सारी दुनिया
इक दा है सारा ऐ पसार सजना
खण्डां ते ब्रह्मण्डां विच नूर उसे दा
महिमा है उस दी अपार सजना
छोटे वड्डे सारे रब दे ही बंदे ने
उसे दे ने फुल्ल अते ख़ार सजना
जिस नूं वी गल्ल एह समझ आ गई
पंड ईरखा दी दए उतार सजना
इक्को जेहा जान के हर इन्सान नूं
करे सब नाल ही ओह प्यार सजना
हर इक विच वेखे रब्ब दा ही रुप
करे सब दा ओह सत्कार सजना
मिट्ठ बोलना ते नीवां हो के चलना
बन जाँदै उस दा शिंगार सजना
करना भला ते नेकियां कमावना
एही तां हैं ज़िंदगी दा सार सजना
मोह-माया दा है जिहने जाल तोड़िया
ओही हुंदै जग विच पार सजना
ज्ञान दा वी 'राजन कदी मान न करीं
अजे तां है नांव मंझधार सजना
"राजन सचदेव "
ख़ार - कांटे
* * एकः ब्रह्म द्वितीय नास्ते - नेह नाय नास्ति किंचनं
(ब्रह्मसूत्र - यजुर्वेद)
अर्थात - एक ही ब्रह्म अथवा ईश्वर है - उसके समान दूसरा कोई नहीं - न था न है न होगा
दूसरे शब्दों में - ब्रह्म अथवा ईश्वर एक ही है दो चार नहीं - ईश्वर के समान दूसरा कोई नहीं है
2
"एकम् सत् विप्र बहुधा वदन्ति"
ऋग्वेद, पुस्तक 1, अध्याय 164, श्लोक 46)
अर्थात - सत्य अथवा ईश्वर तो एक ही है लेकिन विद्वान् उसे अनेक प्रकार से अर्थात अलग अलग नामों और रुपों के ज़रिये से समझाते हैं
So nice
ReplyDeleteBeautiful,excellent
ReplyDeleteWah ji very nice 👍👍
ReplyDeleteBahut sundar ji .
ReplyDelete🙏
Sanjeev Khullar
This is beautiful.
ReplyDeleteGreat ji
ReplyDeleteBeautiful.🙏JK
ReplyDeleteWah ji Wah uncle ji
ReplyDeleteVery nice poem
ReplyDeleteVery nice poem
ReplyDeleteSuperb 🙏🙏🙏
ReplyDeleteExcellent beautiful ❤️❤️🙏🙏
ReplyDeleteBeautiful. 🙏🙏
ReplyDelete