Monday, November 25, 2024

सब हैं मुसाफ़िर यहां

दुनिया है सराय फ़ानी सब हैं मुसाफ़िर यहां 
रोज़ कोई आ रहा है - रोज़ कोई जा रहा 
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न समझे थे न समझेंगे Na samjhay thay Na samjhengay (Neither understood - Never will)

न समझे थे कभी जो - और कभी न समझेंगे  उनको बार बार समझाने से क्या फ़ायदा  समंदर तो खारा है - और खारा ही रहेगा  उसमें शक्कर मिलाने से क्या फ़ायद...